आष्टा / के पार्वती नदी किनारे स्थित शिव मंदिर में सावन के दूसरे सोमवार को भक्तों की भारी भीड़ उमड़ी। सुबह 5 बजे से शुरू हुआ भक्तों का तांता दोपहर तक चलता रहा। कुल 7 घंटों में दोपहर 12 बजे तक 5000 से अधिक श्रद्धालुओं ने भगवान शिव के दर्शन किए।
मंदिर के महंत हेमंत गिरी ने बताया कि उनकी पिछली चार पीढ़ियां यहां पर पूजन करती आ रहे हैं। उन्होंने बताया कि हमारे पूर्वज बताते थे कि यह मंदिर पांडव कालीन है। यहां स्वयं रावण ने भी पूजा की थी। अब तक कई प्रसिद्ध फिल्म कलाकार और राजनेता भी इस मंदिर में आ चुके हैं।

इन क्षेत्रों से पहुंचे दर्शन करने भक्त
आष्टा, जावर, मेहतवाड़ा, सिद्धिगंज, खाचरोद, कोटरी और मैना क्षेत्र के अन्य शिव मंदिरों में भी भक्तों की भीड़ देखी गई। मंदिर समितियों ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए। पहले सोमवार की तुलना में इस बार मौसम साफ रहा। पिछले सप्ताह रिमझिम बारिश में भक्तों ने दर्शन किए थे।

देवबडला में मंदिरों का पुनर्निर्माण
जावर के पास स्थित बिलपान का देवबडला भी श्रद्धालुओं के आकर्षण का केंद्र रहा। यहां पुरातत्व विभाग ने चार वर्ष पूर्व खुदाई में 12 प्राचीन मंदिर खोजे थे। एक मंदिर का जीर्णोद्धार पूरा हो चुका है, जबकि दूसरे पर काम जारी है। परिसर में खुदाई से प्राप्त दुर्लभ मूर्तियां संरक्षित हैं। सभी मंदिरों के पुनर्निर्माण के बाद यह स्थल धार्मिक और पर्यटन दोनों दृष्टि से महत्वपूर्ण हो जाएगा।