शहर की आन, बान, शान अंतर्राष्ट्रीय कथावाचक पंडित प्रदीप मिश्रा के आह्वान पर एक बार फिर बनेगा रिकार्ड, विश्वभर में घर-घर होगा पार्थिव शिवलिंग का निर्माण आगामी

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सीहोर / सावन मास में आगामी 23 जुलाई का आने वाली शिवरात्रि पर विश्व भर के सभी श्रद्धालुओं के द्वारा पार्थिव शिवलिंग बनाकर पूजन अर्चन का आयोजन किया जाएगा। दरअसल अंतर्राष्ट्रीय कथा वाचक प्रदीप मिश्रा ने छत्तीसगढ के कोरबा में आयोजित शिव महापुराण के माध्यम से यह संदेश दिया गया था कि सावन के पवित्र मास में बुधवार को मासिक शिवरात्रि पावन अवसर पर पार्थिव शिवलिंग बनाकर उनका रुद्राभिषेक किया जाएगा। सामूहिक रूप से किसी आराध्य की पूजा का तत्काल फल मिलता है। पूर्व में भी देश ही नहीं विश्व में भी श्रद्धालुओं के द्वारा करोड़ों पार्थिव शिवलिंगों का निर्माण कर पूजन किया गया था, इस साल उससे दूगना उत्साह दिखाई दे रहा है। हर रोज बड़ी संख्या में कावड लेकर जिला मुख्यालय के समीपस्थ चितावलिया हेमा स्थित निर्माणाधीन मुरली मनोहर एवं कुबेरेश्वर महादेव मंदिर में पहुंचकर भगवान शिव की भक्ति में सराबोर है और पूजा अर्चना कर रहे है। यहां पर नियमिति रूप से निशुल्क भोजन प्रसादी के अलावा शहर के अनेक स्थानों पर कांवड के श्रद्धालुओं के लिए निशुल्क पेयजल, नश्ते और केले फलहारी की व्यवस्था की जा रही है। विठलेश सेवा समिति के द्वारा धाम पर आने वाले श्रद्धालुओं के लिए ठहरने और भोजन की व्यवस्था भी बड़े पैमाने पर की गई है। समिति के व्यवस्थापक पंडित समीर शुक्ला, पंडित विनय मिश्रा आदि के द्वारा व्यवस्था की जा रही है।

समिति के मनोज दीक्षित मामा ने बताया कि शिव आराधकों के लिए महाशिवरात्रि का बड़ा महत्व है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार महाशिवरात्रि की मध्य रात्रि को ही भगवान शिवलिंग रूप में प्रकट हुए थे। माना जाता है कि इसी समय ब्रह्मा और विष्णु के द्वारा पहली बार शिवलिंग का पूजन किया गया था। परंतु एक वर्ष में एक महाशिवरात्रि और 11 शिवरात्रियां पड़ती हैं, जिन्हें मासिक शिवरात्रि के रूप में मनाया जाता है। मासिक शिवरात्रि हर माह में एक बार आती है। इस तरह से 12 शिवरात्रि होती हैं। हर महीने कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी पर शिवरात्रि मनाई जाती है, जिसे मासिक शिवरात्रि कहा जाता है। मान्यता है कि मासिक शिवरात्रि का व्रत करने से भगवान शंकर प्रसन्न होते हैं और शास्त्रों के अनुसार देवी लक्ष्मी, सरस्वती, इंद्राणी, गायत्री, सावित्री, पार्वती और रति ने शिवरात्रि का व्रत किया था और शिव कृपा से अनंत फल प्राप्त किए थे।


पूर्व में पंडित श्री मिश्रा के एक आह्वान पर हर-हर महादेव, घर-घर महादेव की तर्ज पर देश ही नहीं विदेशों में बसे श्रद्धालुओं ने पूर्ण विधि-विधान से पार्थिव शिवलिंगों का निर्माण कर पूर्ण रूप से जलाभिषेक किया गया था। इस वर्ष भी पूरे उत्साह के साथ उक्त आयोजन किया जाएगा। कार्यक्रम का आयोजन 23 जुलाई बुधवार को चैनल पर लाइव, यू ट्यूब पर, फेसबुक पर लाइव रात्रि सात बजे से आठ बजे तक की जाएगी।

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