Drnewsindia.com / भोपाल
उत्तराखंड, हिमाचल और कश्मीर में जारी बर्फबारी का सीधा असर अब मध्यप्रदेश में दिखने लगा है। नवंबर की शुरुआत में ही प्रदेश में कड़ाके की ठंड पड़ रही है। शनिवार–रविवार की रात भोपाल और इंदौर का न्यूनतम तापमान 6.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जिससे दोनों शहरों में सीजन की सबसे ठंडी रात रिकॉर्ड हुई।
मौसम विज्ञानियों के अनुसार, यह तापमान नवंबर में पिछले कई दशकों का रिकॉर्ड तोड़ रहा है। भोपाल में 84 साल पुराना रिकॉर्ड टूटने के करीब है। वर्ष 1941 में नवंबर का न्यूनतम पारा 6.1 डिग्री रहा था।
एक रात में 3.2° की गिरावट
इंदौर में शुक्रवार रात तापमान 9.6° था, जो अगले ही दिन 6.4° पर पहुंच गया। यानी एक ही रात में 3.2 डिग्री की भारी गिरावट हुई।
भोपाल में भी पारा 1.6°, नर्मदापुरम–जबलपुर–उज्जैन में 1.2°, और छतरपुर–सिवनी में लगभग 1° तक गिरावट दर्ज की गई।
राजगढ़ में भी पारा 6° पर
राजगढ़ जिले में पारा 6° पर पहुंच गया, जो इस सीजन का सबसे कम तापमान है। उमरिया में 7.3°, रीवा में 7.4°, और शिवपुरी में 9° दर्ज किया गया।
क्यों बढ़ रही है ठंड?
पहाड़ी राज्यों में लगातार बर्फबारी से उत्तरी ठंडी हवाएं सीधे एमपी में प्रवेश कर रही हैं, जिससे रात के तापमान में तेजी से गिरावट हो रही है। दिन में धूप है, लेकिन सुबह–शाम गलन बनी हुई है।
⚠️ कई जिलों में शीतलहर का अलर्ट
मौसम विभाग ने रविवार को कई जिलों—
भोपाल, इंदौर, राजगढ़, शाजापुर, देवास, छतरपुर, रीवा, पन्ना, उमरिया, जबलपुर, सीहोर
में शीतलहर का अलर्ट जारी किया है।
नवंबर का मौसम पिछले 10 सालों से अनियंत्रित
मौसम विभाग के रिकॉर्ड बताते हैं कि
- नवंबर में तापमान तेजी से लुढ़क रहा है
- कई बार बारिश भी दर्ज हुई
- इस साल अक्टूबर में सामान्य से 121% ज्यादा बारिश हुई
जिसके कारण नवंबर की ठंड पहले हफ्ते से ही तीखी हो गई है।




