प्राणपुर \ मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने प्रदेश में खुले में मांस, मछली और अंडे की बिक्री पर रोक लगाने का आदेश दिए था। इसके बावजूद शहर सहित आसपास के ग्रामीण अंचल में मुख्य मार्गों और धार्मिक स्थलों के पास खुलेआम मांस, मछली और अंडे की दुकानें चल रही हैं। हजरत शाह विलास दरगाह सहित कई स्थानों पर यह दुकानें लग रही हैं। इससे महिलाओं, बच्चों और स्थानीय रहवासियों को परेशानी हो रही है।
मुख्यमंत्री के आदेश के बाद वरिष्ठ अधिकारियों ने सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए थे। इसके बावजूद जिम्मेदार अधिकारी इन दुकानों पर कोई कार्रवाई नहीं कर रहे हैं। खुले में मांस और मछली की बिक्री से गंदगी फैल रही है। इससे लोगों के स्वास्थ्य पर भी असर पड़ रहा है। मांस विक्रेता बिक्री के बाद अवशेष खुले में फेंक देते हैं। इन अवशेषों पर आवारा मवेशी मंडराते हैं।
कई बार यह मवेशी आपस में लड़ते हैं। कई बार राहगीरों पर हमला कर उन्हें काट लेते हैं। मांस के अवशेष खाकर आवारा कुत्ते हिंसक हो रहे हैं। ये कुत्ते रोजाना लोगों को काटकर घायल कर रहे हैं। अस्पताल में रोजाना 8 से 10 कुत्तों के काटने के मामले आ रहे हैं। ग्राम पंचायत मुरादपुर में भी खुले में मछलियों की बिक्री हो रही है। ग्रामीणों ने बताया कि चौराहे पर प्रतिदिन मछलियां बेची जा रही हैं। एकमात्र प्रतीक्षालय के पास ही यह दुकानें लग रही हैं। ग्रामीणों के समझाने पर मछली विक्रेता झगड़े पर उतर आते हैं।
प्रतीक्षालय के पास मंदिर हैं। इसके बावजूद प्रशासन कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है। ग्रामीण सुखनंदन, बृजेश, हरनारायण, नितिन, लक्ष्मीनारायण, जसराम सिंह आदि ने थाना प्रभारी चंदेरी को शिकायती पत्र दिया है। इसमें धार्मिक स्थल के पास मछली बिक्री पर आपत्ति जताई गई है। ग्रामीणों ने मांग की है कि खुले में मछली बेचने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाए।